जिलेभर 700 मोटरों के चक्के थमे
सीहोर। डीजल के दाम बढ़ने से ट्रांसपोर्ट कारोबार काफी प्रभावित हुआ है। तेल कीमतों में आग लगी पड़ी है और पेट्रोल डीजल की कीमतें सैकड़ा पार हैं लगातार बढ़ोत्तरी के कारण अब ट्रांसपोर्ट व्यवसाय से जुड़े लोगों पर अतिरिक्त बोझ पड़ रहा है और ऐसे में उचित भाड़ा न मिलने के कारण कई मोटर मालिकों ने अपने वाहन खड़े कर दिए हैं। ट्रांसपोर्टर महेंद्र प्रजापति लंबे समय से स्पेशल से जुड़ें वह कहते हैं कि डीजल के दाम तो लगातार बढ़ हैं लेकिन भाड़ा नहीं बढ़ रहा है उनके पास 8 गाड़ियां और अब हालात यह हो गए हैं कि उनकी किस्त भी नहीं निकल पा रही है फाइनेंसर के डर से वह सुबह जल्दी घर से निकल जाते हैं, फायनेंस कम्पनी के लोग रोजाना तकादा लगाते हैं, जिनके डर से मोटर मालिक खेत, खलिहान और अन्य स्थानों पर छुपाने को मजबूर हैं। कर्ज बढ़ता जा रहा है दो माह से गाड़ियां खड़ी हुई है वह बताते हैं बैरियर पर मनमानी वसूली की जाती है। जिले भर में करीब 700 से अधिक मोटर खड़ी हैं। सरकार से मांग की है कि पेट्रोल डीजल के दाम कम किये जाने चाहिए। जिससे ट्रांसपोर्ट धंधे से जुड़े लोगों की हालत सम्भले।
चुका नही पा रहे हैं किश्त
जाट ट्रंसपोर्ट संचालक गणेश जाट कहते हैं कि हालात बहुत बुरे हैं, ट्रांसपोटर्स गाड़ियों की किश्त भी नही चुका पा रहे हैं, डीजल के दामों में लगातार इजाफा हो रहा है लेकिन पार्टी भाड़ा नही बढ़ा रही। रोड पर गाड़ी चलाना मुश्किल हो गया है, पुलिस परेशान करती है घूस लेती है, वेरियर पर भी मनमानी वसूली की जाती है। बताया कि कई मोटर मालिक कर्ज में हैं गाड़ी कई दिनों से खड़ी हैं जिससे किश्त भी नही चूक पा रही हैं।