सीहोर. झूठी छवि चमकाने के लिए मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान छोटे कर्मचारी, सीईओ, पटवारी को सस्पेंड कर नायक बनने की झूठी नौटंकी कर जनता को गुमराह करने का काम कर रहे हैं. प्रदेश में बेरोजगार युवा पदयात्रा निकाल रहा है, लेकिन उनकी कोई सुनने वाला नहीं है. विकलांगों ने रोजगार के लिए मशक्कत की उनकी कोई सुनवाई नहीं हुई. किसानों को खाद-बीज नहीं मिल रहा, वह लाइनों में लगे परेशान हो रहा, उनकी कोई सुनने वाला नहीं, फसलों का उचित दाम किसानों को नहीं मिल रहा और किसान अपनी फसल सडक़ों पर फेंकने के लिए विवश हैं. आदिवासियों पर अत्याचार हो रहे है. इंदौर भोपाल में पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू होने के बाद भी अपराध कम नहीं है. इन सब के बाद भी प्रदेश के सीएम मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को गुस्सा नहीं आता. वह तो मंचों से छोटे-छोटे अधिकारियों को सस्पेंड कर नौटंकी कर रहे हैं. अब सीएम शिवराज की सोच बूढ़ी हो गई है.
यह बात प्रदेश कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष, पूर्व मंत्री और विधायक जीतू पटवारी ने प्रदेश में व्याप्त भ्रष्टाचार पर चिंता व्यक्त करते हुए आज प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान कही. पटवारी ने कहा कि लोकायुक्त और ईओडब्ल्यू में 300 से ज्यादा भ्रष्टाचार के लंबित प्रकरण है. पटवारी ने कहा कि 2019 में हुई पीएससी परीक्षा प्री व मेन्स हो गई, केवल साक्षात्कार होना शेष था तब कोटे ने परीक्षा रद्द कर दी, क्योंकि कई मामले इस परीक्षा से जुड़े हुए कोर्ट में लंबित थे, ऐसा ही इस परीक्षा में न हो इसलिए पहले कोर्ट से मामलों का निराकरण किया जाए. वहीं उन्होंने कहा कि पीएससी ने स्त्री रोग विशेषज्ञ के 95 पद निकाले थे, जिसका परिणाम आया, उसमें नंबर देने में अजा और अजजा वर्ग के प्रति भारी भेदभाव किया गया. इस वर्ग के प्रतियोगियों को जो 100 में से नबंर दिये गये उसमें जनरल को 75 से 89, ओबीसी को 38 से 55, अजा को 34 से 49 और अजजा को 32 से 45 नंबर दिये गये जो भाजपा सरकार की भेदभावपूर्ण नीति का उजागर करता है, वहीं सरकार की गलत नीतियों के चलते 2018 के बाद से पीएससी के माध्यम से राज्य प्रशासनिक सेवा की एक भी नियुक्ति नहीं हुई और शिक्षित युवा ओवरएज हो गये, उनके भविष्य के साथ बहुत बड़ा खिलवाड़ा किया गया.
नायक फिल्म की नकल कर रहे शिवराज
पूर्व मंत्री जीतू पटवारी ने कहा कि प्रदेश का हर दूसरा व्यक्ति इस भ्रष्टाचार का शिकार हुआ है और हमारे प्रदेश के मुखिया शिवराजसिंह चौहान एक दिन के नायक फिल्म की नकल कर खलनायक की भूमिका में है. सात दिन में 17 लोगों को सस्पेेंड कर प्रदेश की जनता को गुमराह करने की नौटंकी कर आखिर क्या दर्शाना चाहते हैं. पटवारी ने कहा कि किसानों को खाद.बीज नहीं मिल रहा, किसान आत्महत्या करने पर विवश. किसान उचित मूल्य नहीं मिलने से अपनी सब्जी की फसल को र्सडक़ों पर फेंक रहा है. गेहूं का उचित समर्थन मूल्य नहीं मिल रहा, सबसे ज्यादा मप्र में बच्चियों का अपहरण हुआ, महिलाओं पर अत्याचार, रेप, गेंगरेप, आदिवासियों पर अत्याचार, लचर कानून व्यवस्था के चलते अपराधी सरेआम अपराध को अंजाम दे रहा है. हर दूसरा व्यक्ति नशा कर रहा है. प्रदेश को नशेड़ी प्रदेश बना दिया है. पटवारी ने कहा कि अबकी बार भाजपा सरकार को इतने ज्यादा मार्जिन से हराओं कि वह सरकार गिराना तो दूर सरकार के आसपास भी नजर ना आ सके, ताकि प्रदेश के युवाओं का भविष्य सुरक्षित हो सकेए महिलाओं बच्चियों की सुरक्षा हो सके. किसानों को सम्मान मिल सके और प्रदेश विकास पथ पर आगे बढ़ सके.