आम आदमी , गांव और किसानों का बजट :- रवि मालवीय

सीहोर/ आम बजट में गांव और किसान हैं. इस बजट में किसानों की आय बढ़ाने पर जोर दिया गया है. कृषि बाजार समितियों को और मजबूत करने के उपाय किए गए हैं
आम बजट पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा जिलाध्यक्ष रवि मालवीय ने कहा कि जो लोग यह अफवाह फैला रहे थे कि नए कृषि कानूनों से किसानों के लिए हितकारी कृषि उत्पाद बाजार समितियां (APMC) बंद हो जाएंगी, उन लोगों का मुंह बंद कर देने वाला यह बजट है.
आगे भाजपा जिलाध्यक्ष का कहना है कि वित्त मंत्री ने किसानों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य को बढ़ा कर डेढ़ गुना कर दिया है. यह घोषणा विरोधियों को आइना दिखाने के लिए काफी है.
उन्होंने बताया कि गेहूं के लिए 2013-14 में पिछली सरकार ने 33 हजार करोड़ रुपए की MSP दी थी वो अब बढ़ाकर 75 हजार करोड़ की गई है. चावल के लिए 63 हजार करोड़ दिए गए थे जो बढ़ाकर 1 लाख 72 हजार करोड़ कर दिया गया है. इसी तरह से दाल के लिए 236 करोड़ दिए गए थे जो अब 10 हजार करोड़ दिए जा रहे हैं. कपास के लिए जो 90 करोड़ की रकम दी गई थी वो इस बजट में बढ़ाकर 25 हजार करोड़ कर दी गई है. इससे स्पष्ट होता है कि पिछली सरकार से दोगुने से ज्यादा मूल्य वर्तमान केंद्र सरकार ने किसानों को दिया है.
‘किसानों को मदद ऐतिहासिक’
इसके अलावा रवि मालवीय ने एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर क्षेत्र को लेकर भी इस बजट की उपलब्धियां गिनाते हुए बताते हैं कि लघु सिंचाई योजना के लिए 10,000 करोड़ रुपए देने की अभूतपूर्व घोषणा की गई है. ऐसा इतिहास में पहले कभी नहीं हुआ. मत्स्यपालन, कुक्कुटपालन, दुग्ध उत्पादन, बंदरगाहों के विकास के लिए भी ढेर सारी योजनाएं और फंड इस बजट के माध्यम से दिए गए हैं. सबसे बड़ी बात तो यह कि 16 लाख रुपए का कर्ज किसानों को उपलब्ध करवाने की घोषणा की गई है. इसी तरह ग्रामीण इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए 40 हजार करोड़ रुपए का अतिरिक्त फंड दिए जाने की बात भी रवि मालवीय ने गिनाई.

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